गणपति बाप्पा मोरया: ढोल-नगाड़ों के साथ बाप्पा निकले भक्तों संग, उपराजधानी नागपुर में गणेशोत्सव की धूम
नागपुर में गणेशोत्सव की धूम: ढोल-नगाड़ों के साथ प्रतिमा विसर्जन की तैयारी, चितर ओली बना उत्सव का केंद्र
नागपुर, 27 अगस्त – उपराजधानी नागपुर में गणेशोत्सव ने पूरे शहर को भक्ति, उल्लास और उमंग के रंग में रंग दिया है। जैसे ही गणेश चतुर्थी की पूर्व संध्या नजदीक आई, शहर के मध्य स्थित चितर ओली इलाके में गणेश भक्ति की लहर उमड़ पड़ी। यहां से भगवान गणेश की सजी-संवरी भव्य प्रतिमाओं को मंडलों और घरों में विराजमान करने के लिए ले जाया जा रहा है। ढोल-ताशों की गूंज और “गणपति बाप्पा मोरया” के नारों ने पूरे क्षेत्र को भक्तिमय बना दिया।
चितर ओली में भक्तों का सैलाब
चितर ओली, जो शहर की प्रमुख गणेश प्रतिमा निर्माण स्थली है, इन दिनों आकर्षण का केंद्र बन गया है। यहीं से अंबाझरी का ‘मोरया’, धरमपेठ का ‘राजा’ सहित कई विशाल गणेश प्रतिमाएँ शहर के विभिन्न पंडालों की ओर रवाना की जा रही हैं। भक्तों की भारी भीड़, बच्चों की चहक, और युवाओं का जोश – सभी ने इस आयोजन को एक उत्सव का रूप दे दिया।
जयघोष और ढोल-ताशों की धुन
प्रतिमा ले जाते समय भक्तों ने जमकर नृत्य किया और पूरे वातावरण में “गणपति बाप्पा मोरया, मंगल मूर्ति मोरया” के जयघोष गूंजते रहे। कोई बाबुलगांव से ढोल-ताशा लेकर पहुंचा तो कोई अपने मंडल की टोली के साथ नाचते-गाते बाप्पा को लेने आया। छोटे-बड़े सभी मंडलों के साथ-साथ आम नागरिकों ने भी उत्सव को पूरी श्रद्धा और उल्लास से मनाया।
पुलिस की चाक-चौबंद व्यवस्था
गणेशोत्सव के मद्देनज़र शहर की यातायात व्यवस्था में भी बदलाव किया गया है। नागपुर पुलिस ने ट्रैफिक डायवर्जन की योजना बनाई है ताकि मूर्ति रैलियों के दौरान यातायात बाधित न हो। जुनी मंगलवारी चौक पर बैरिकेडिंग कर रास्ता बंद किया गया है और केलीबग रोड को वन-वे घोषित किया गया है। ट्रैफिक विभाग की सतर्क निगरानी से जाम की स्थिति को टालने की पूरी कोशिश की जा रही है।
एक नजर में उत्सव
- स्थान: चितर ओली, नागपुर
- मुख्य आकर्षण: शहर की प्रमुख गणेश प्रतिमाओं का प्रस्थान
- उल्लास: ढोल-नगाड़ों, नृत्य, जयघोष
- प्रशासनिक व्यवस्था: पुलिस और ट्रैफिक विभाग की तैनाती
नागपुर का यह गणेशोत्सव न सिर्फ धार्मिक श्रद्धा का प्रतीक है, बल्कि यह सामाजिक एकता, लोक कला और सांस्कृतिक समरसता का भी उत्सव बन चुका है।